1.25 एमएलडी एसटीपी, भीमताल पर ऑनलाईन मॉनिटरिंग सिस्टम की प्रगति एवं निरीक्षण किया

राष्ट्रीय स्वच्छ गंगा मिशन, जल शक्ति मंत्रालय, भारत सरकार द्वारा उत्तराखण्ड राज्य में 1 एमएलडी से अधिक क्षमता वाले कुल 18 एसटीपी में ऑनलाइन मॉनिटरिंग सिस्टम अधिष्ठापित किए जा रहे हैं। माननीय राष्ट्रीय हरित प्राधिकरण (NGT) एवं केंद्रीय प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड (CPCB) द्वारा जारी दिशा-निर्देशों के अनुसार, सभी एसटीपी में ऑनलाइन मॉनिटरिंग सिस्टम की अधिष्ठापना अनिवार्य की गई है।

उक्त निर्देशों के अनुपालन में, राष्ट्रीय स्वच्छ गंगा मिशन द्वारा सभी नई एसटीपी परियोजनाओं में ऑनलाइन मॉनिटरिंग सिस्टम लगाना अनिवार्य कर दिया गया है, तथा पूर्व में स्थापित एसटीपी में भी इसे स्थापित किए जाने की आवश्यकता जताई गई है।

उत्तराखण्ड राज्य में वर्तमान में संचालित कुल 70 एसटीपी में से 22 एसटीपी में ऑनलाइन मॉनिटरिंग सिस्टम पहले से ही अधिष्ठापित हैं। नमामि गंगे कार्यक्रम के अंतर्गत 1 एमएलडी से अधिक क्षमता वाले कुल 18 एसटीपी चिन्हित किए गए हैं, जिनमें यह प्रणाली अधिष्ठापित की जानी प्रस्तावित है। इनमें केन्द्र, राज्य एवं अन्य सरकारी एजेंसियों द्वारा स्थापित एसटीपी सम्मिलित हैं।

इसी क्रम में, जनपद नैनीताल स्थित 1.25 एमएलडी एसटीपी, भीमताल में ऑनलाइन मॉनिटरिंग सिस्टम की अधिष्ठापना की जा रही है। इस संबंध में दिनांक 24.04.2025 को संयुक्त स्थलीय निरीक्षण किया गया, जिसमें श्री रोहित जयाड़ा, मॉनिटरिंग विशेषज्ञ/नोडल अधिकारी, राज्य स्वच्छ गंगा मिशन; श्री प्रियांक प्रकाश, कनिष्ठ अभियंता, उत्तराखण्ड जल संस्थान, भीमताल; एवं श्री गौरव पाण्डेय, एसटीपी मैनेजर उपस्थित रहे।

निरीक्षण के दौरान श्री रोहित जयाड़ा द्वारा जल शक्ति मंत्रालय, भारत सरकार द्वारा एसटीपी पर लगाए जा रहे रियल टाइम मॉनिटरिंग सिस्टम के तकनीकी पहलुओं, परियोजना क्रियान्वयन एवं निगरानी संबंधी जानकारी कार्यदायी संस्था के प्रतिनिधियों को दी गई। यह प्रणाली कार्यान्वयन उपरांत एसटीपी के प्रदर्शन की समीक्षा राज्य एवं केंद्र स्तर पर करना संभव बनाएगी। निरीक्षण में नामित कार्यदायी फर्म M/s Aaxis Nano Tech Pvt. Ltd. के प्रतिनिधि श्री मयंक कुमार भी उपस्थित रहे।

वर्तमान में, नामित फर्म द्वारा एसटीपी पर ऑनलाइन मॉनिटरिंग सिस्टम का कार्य पूर्ण कर लिया गया है। इस प्रणाली के अंतर्गत इनलेट एवं आउटलेट पर पैनल अधिष्ठापित किए गए हैं, जिनमें डेटा लॉगर, मॉडेम एवं आवश्यक सेंसर शामिल हैं (संबंधित फोटोग्राफ संलग्न हैं)।

उक्त सिस्टम की सटीकता सुनिश्चित करने हेतु दिनांक 17 एवं 18 मई, 2025 को कैलिब्रेशन कार्य संपन्न किया गया। दिनांक 18 मई, 2025 को राज्य स्वच्छ गंगा मिशन एवं उत्तराखण्ड जल संस्थान के अधिकारियों द्वारा संयुक्त स्थलीय निरीक्षण किया गया। निरीक्षण के दौरान फर्म द्वारा किए गए समस्त कार्य संतोषजनक पाए गए। वर्तमान में, एसटीपी का डेटा डेटा लॉगर एवं गंगा तरंग पोर्टल (राष्ट्रीय स्वच्छ गंगा मिशन, जल शक्ति मंत्रालय द्वारा विकसित) पर निरंतर प्रदर्शित हो रहा है।

वर्तमान में गंगा तरंग ऑनलाइन मॉनिटरिंग पोर्टल पर उपलब्ध वॉटर क्वालिटी पैरामीटर्स डाटा के अनुसार उक्त एसटीपी पर्यावरण, वन एवं जलवायु परिवर्तन मंत्रालय तथा राष्ट्रीय हरित प्राधिकरण द्वारा अधिसूचित जल गुणवत्ता मानकों के अनुरूप नहीं पाया गया है ।

इस संबंध में नोडल अधिकारी द्वारा उत्तराखण्ड जल संस्थान को एसटीपी का सुचारु एवं प्रभावी संचालन सुनिश्चित करने हेतु निर्देशित किया गया। उत्तराखण्ड जल संस्थान द्वारा यह अवगत कराया गया है कि एसटीपी के आवश्यक मेंटेनेन्स एवं संचालन हेतु एक अनुमानित व्यय विवरण शासन को प्रेषित कर दिया गया है।

उक्त एसटीपी पर अधिष्ठापित ऑनलाइन मॉनिटरिंग सिस्टम को कम से कम एक माह की अवधि के लिए ट्रायल रन पर रखा जाएगा। इस अवधि में डेटा के आधार पर कार्य की गुणवत्ता का मूल्यांकन किया जाएगा। तत्पश्चात, संतोषजनक निष्पादन की स्थिति में कम्पलीशन सर्टिफिकेट निर्गत किया जाएगा।


Advertisements

गणेश मेवाड़ी

संपादक - मानस दर्पण